जन्मदिन पर शिक्षक ने लिया अनाथ बच्चों को गोद, पाठ्य सामग्री भेंट कर की शिक्षा की जिम्मेदारी
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अनाथ बच्चों को गोद लेने वाले शिक्षक नीलमणी साहू (बांए से दूसरे)। |
जगदलपुर, छत्तीसगढ़। विकास खंड बकावंड के अंतर्गत प्राथमिक शाला मालगांव में शिक्षक दिवस के अवसर पर एक अनूठी और सराहनीय पहल देखने को मिली। यहां के प्रभारी प्रधान अध्यापक नीलमणी साहू ने शिक्षक दिवस के साथ-साथ अपने जन्मदिन के दिन स्कूल में पढ़ रहे दो अनाथ बच्चों को गोद लेने की घोषणा कर उनकी शिक्षा की पूरी जिम्मेदारी अपने ऊपर ले ली।
शिक्षक का संकल्प: अनाथ बच्चों को शिक्षित करना
इस विशेष अवसर पर श्री साहू ने न केवल इन बच्चों को गोद लिया, बल्कि उन्हें उनकी पढ़ाई के लिए जरूरी स्कूल बैग, किताबें, अभ्यास पुस्तिकाएं, पेन, कंपास बॉक्स और पानी की बोतल जैसी पाठ्य सामग्री भी भेंट की। इस पहल का उद्देश्य इन अनाथ बच्चों के शैक्षिक भविष्य को सुरक्षित और उज्ज्वल बनाना है।
"शिक्षक दीपक के समान है": बीईओ
कार्यक्रम के दौरान मुख्य अतिथि और प्रभारी खंड शिक्षा अधिकारी डेन्सनाथ पांडे ने अपने उद्बोधन में शिक्षकों के योगदान को रेखांकित किया। उन्होंने कहा, "शिक्षक एक दीपक के समान है जो स्वयं जलकर पूरे समाज को प्रकाशवान बनाता है। शिक्षक ही विश्व का एकमात्र ऐसा व्यक्तित्व है जो अपने विद्यार्थी को अपने से भी बड़े पद पर पहुंचाने के लिए स्वयं को खपा देता है।"
विज्ञान के जादू से रोमांचित हुए बच्चे
इस कार्यक्रम का एक और आकर्षण था विज्ञान का जादू। शा. उ. मा. विद्यालय के व्याख्याता और इको क्लब प्रभारी मनीष अहीर ने बच्चों के सामने विज्ञान के रोचक प्रयोग और 'विज्ञान का जादू' का प्रदर्शन किया, जिसका सभी बच्चों ने बेहद उत्साह के साथ आनंद लिया।
समाज के गणमान्य लोगों ने की सराहना
कार्यक्रम के अंत में सभी बच्चों को भोजन के लिए आमंत्रित किया गया। इस अवसर पर पूर्व जनपद सदस्य भोलानाथ नाग, उपसरपंच जय कुमार झुमको, एसएमसी अध्यक्ष धनीराम सेठिया सहित शिक्षक भुनेश कुमार नेताम, सरोज जोशी और रतमनी सेठिया जैसे गणमान्य लोग उपस्थित रहे, जिन्होंने इस नेक पहल की सराहना की।