बचेली-किरंदुल मुक्तिधाम: जर्जर सुविधाओं के बीच अंतिम संस्कार की पीड़ा

बचेली-किरंदुल मुक्तिधाम: जर्जर सुविधाओं के बीच अंतिम संस्कार की पीड़ा

ब्रह्मा सोनानी, बचेली: दक्षिण बस्तर के दंतेवाड़ा जिले में स्थित लौहनगरी बचेली-किरंदुल के निवासियों को अपनों का अंतिम संस्कार करने में परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।

देखरेख के अभाव में जर्जर हो चुका बचेली-किरंदुल मुक्तिधाम

8-10 वर्षों से उपेक्षित है एकमात्र मुक्तिधाम

बचेली-किरंदुल मार्ग के मध्य स्थित यह मुक्तिधाम किरंदुल से 3 किमी और बचेली से 7 किमी की दूरी पर स्थित है। दोनों क्षेत्रों के लोग यहां रिश्तेदारों की उपस्थिति में दाह संस्कार करते हैं, लेकिन वर्षों पुराना यह मुक्तिधाम पिछले एक दशक से जर्जर अवस्था में है।

NMDC क्षेत्र में होने के बावजूद उपेक्षा

बचेली-किरंदुल NMDC के कार्यक्षेत्र में आता है, लेकिन न तो कंपनी प्रबंधन और न ही स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने कभी इस मुक्तिधाम के रखरखाव पर ध्यान दिया है।

टूटी छत और बारिश में भीगते शोक संतप्त

किरंदुल-बचेली मुक्तिधाम  में टूटे शेड के नीचे किया जा रहा शवों कादहन

मुक्तिधाम का शेड कई वर्ष पूर्व टूट गया था, जिसका मलबा आज भी वहीं पड़ा है। बारिश के मौसम में दाह संस्कार के लिए आए परिजनों को परेशानी झेलनी पड़ती है।

दाह स्थल पर जमा है कचरे का अंबार

शवों के साथ लाए कपड़े व  सामान वहीं छोड़ जाते हैं लोग

शवदाह के बाद परिजनों द्वारा छोड़े गए रजाई, चादर और कपड़ों के ढेर के साथ-साथ टूटे शेड का मलबा पूरे क्षेत्र में फैला हुआ है। सफाई व्यवस्था के अभाव में यह समस्या दिनोंदिन विकराल होती जा रही है।

लकड़ी की उपलब्धता भी एक चुनौती

स्थानीय निवासियों का कहना है कि मुक्तिधाम के निकट वन विभाग का लकड़ी डिपो न होने के कारण उन्हें बचेली या किरंदुल से लकड़ी लानी पड़ती है, जो अतिरिक्त परेशानी का कारण बनता है।

संभाग के अन्य मुक्तिधामों के मुकाबले पिछड़ा

जहां संभाग के अन्य मुक्तिधामों में नए शेड, पौधरोपण, घाट निर्माण और पेयजल की व्यवस्था की गई है, वहीं बचेली-किरंदुल का यह मुक्तिधाम मूलभूत सुविधाओं से भी वंचित है।

स्थानीय निवासियों की मांग: NMDC प्रबंधन और जिला प्रशासन तुरंत इस मुक्तिधाम का जीर्णोद्धार करे, ताकि अंतिम संस्कार जैसे पवित्र कार्य में लोगों को असुविधा न झेलनी पड़े।

basant dahiya

हमारा नाम बसंत दहिया है। हम पिछले 20 वर्षों से प्रिंट मीडिया में सक्रिय हैं। इस दौरान हमने अपने जिला व राजधानी रायपुर में प्रमुख बड़े समाचार पत्रों के साथ जुड़कर काम किया। अप्रेल 2024 से हमने अपना न्यूज पोर्टल समग्रविश्व की शुरूआत की है।

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